सूचना को रोके रखने के लिये या गलत सूचना देने के लिए जुर्माना लगाया जा सकता है

आखिरी अपडेट Jul 13, 2022

केंद्रीय या राज्य सूचना आयोग एक पीआईओ पर जिसने सूचना को रोके रक्खा था या गलत सूचना दी थी, उस पर 250 रूपये का दैनिक जुर्माना लगा सकता है। सूचना दिये जाने के दिन तक, इस जुर्माने का भुगतान करना होगा। जुर्माने की अधिकतम राशि फिर भी 25,000 रुपये से ज्यादा नहीं हो सकती है।

एक ‘पीआईओ’ को, जुर्माने का फैसला करने के पहले, अपने मामला को पेश करने का मौका दिया जाना चाहिए, फिर भी यह सिद्ध करने की जिम्मेदारी उनके ऊपर है कि उन्होंने कानूनी तरीके से काम किया है। एक ‘पीआईओ’ के खिलाफ, उनके सेवा नियमों के अनुसार अनुशासनात्मक कार्रवाई भी की जा सकती है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

क्या आपके पास कोई कानूनी सवाल है जो आप हमारे वकीलों और वालंटियर छात्रों से पूछना चाहते हैं?

Related Resources

उपभोक्ता अधिकार क्या होते हैं?

अपने अधिकारों के प्रति जागरूक होना उपभोक्ताओं के लिए महत्वपूर्ण है ताकि वे अपने हितों के मद्देनज़र आत्मविश्वास से अपने विकल्‍प चुन सकें।

पीड़ितों और गवाहों के अधिकार

यह विशेष कानून पीड़ितों, उनके आश्रितों और इस कानून के तहत दायर शिकायतों के गवाह के रूप में कार्य करने वालों को कुछ अधिकारों की गारंटी देता है।
citizen rights icon

इस कानून के तहत किसी व्यक्ति के क्या-क्या अधिकार हैं?

कोई भी अस्पताल या क्लिनिक विशेष सुविधाओं की कमी का बहाना देते हुए एसिड अटैक सर्वाइवर के इलाज से इनकार नहीं कर सकता।
Crimes and Violence

सूचना का अधिकार- कर

उदाहरण के लिए, यदि आप जानना चाहते हैं कि आपके टैक्स रिटर्न में देरी क्यों हो रही है, तो इसके लिए आप एक आरटीआई आवेदन दाखिल कर सकते हैं।

ईसाई कानून के तहत विवाह करने की विभिन्न प्रक्रियाएं क्या हैं?

विवाह करने वाले पक्षों में से एक नाबालिग है, तो उन्हें विवाह करने के लिए अपने पिता की सहमति की आवश्यकता होगी।

ईसाई कानून के तहत नाबालिग विवाह किस प्रकार कर सकते हैं?

ईसाई कानून के तहत, एक नाबालिग को 21 वर्ष से कम उम्र के व्यक्ति के रूप में परिभाषित किया गया है, और वह विधवा या विधुर नहीं हो।